Khargone News: चार वर्षीय बच्ची का हाथ धड़ से हुआ अलग, दर्दनाक हादसे की पिता ने बताई कहानी , छलग जाएंगे आंसू
15 अगस्त के दिन पूर देश खुशी का जश्न मना रहा था। लेकिन जिले का एक परिवार दुख के अघोषश में डुबा हुआ था। एक 4 वर्षीय बेटी के साथ माता-पिता बाइक पर सवार होकर कुछ काम से बाहर जा रहे थे।
खरगोन न्यूज: मध्य प्रदेश के खरगोन जिले से एक दर्दनाक भारी खबर सामने आई है। 15 अगस्त के दिन पूर देश खुशी का जश्न मना रहा था। लेकिन जिले का एक परिवार दुख के अघोषश में डुबा हुआ था। एक 4 वर्षीय बेटी के साथ माता-पिता बाइक पर सवार होकर कुछ काम से बाहर जा रहे थे। लेकिन हल्की बारिश ने उसे जिंदगी भर के लिए अपाहिज बना दिया। वहीं, घटना के बाद से ही बच्ची की मां अभी तक सदमे बाहर नही निकल पाई है। उसे कुछ भी समझ में नही आ रहा है। दूसरी बता कि जाए तो बच्ची अपने कटे हाथ को लेकर हर रोज कई सवाल पूछ रही है। इस पूरी घटना को लेकर पिता ने कही पूरी बात। आइए जानते है... क्या है पूरा मामला?
दो-तीन मिनट में शरीर से अलग हो गया हाथ
बेटी अंशिका के पिता राकेश सोलंकी ने बताया कि, हम तीन लोग (राकेश खुद उसकी बेटी और पत्नि) 15 अगस्त को बिस्टान से करीब 20 किलोमीटर दूर निकल चुके थे। अचानक हल्की-हल्की बारिश की बूंदे आना शुरू हो गई थी। बच्ची आगे बैठी हुई थी। कहीं उसको ठंड न लग जाएं। इसके कारण उसे पिछे उसकी मम्मी के पास बिठा दिया। पिछे बैठाने के बाद उसकी मम्मी ने उसे स्कार्फ औढ़ा दिया। महज 100 मीटर चले ही थे कि, उसकी मां ललिता जोर से चिल्ला पड़ी।
उसने बताया कि, अंशिका गिर गई है। गाड़ी रोकी और बच्ची को उठाया तो पता चला उसका बायां हाथ कंधे से अलग हो गया था। फिर आसपास बच्ची का हाथ खोजने लगे। लेकिन हमें मिला नही। फिर राह चलते लोगों ने बताया कि बच्ची का हाथ बाइक के पहिए में ही फंसा है। ये सब देखने के बाद बच्ची की मां बेहोश हो गई थी।
अंशिका कई बार बैठ चुकी है पिछे
आगे राकेश ने बताया कि, अंशिका कई बार पिछे बैठ चुकी है और गाड़ी भी धीरे-धीरे ही चल रही थी। लेकिन ये हादसा कैसे हो गया है। अभी तक कुछ भी समझ नही आ रहा है। वहीं, बच्ची हर रोज अपना एक हाथ न होने के कारण नए-नए सवाल पूछती है। इससे हम भी परेशान है कि बच्ची को क्या कहें और क्या नही।
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इस प्रकार समझातें है बच्ची को
फिलहाल बच्ची का इलाज इंदौर में चल रहा है। सर्जरी के बाद बच्ची को वार्ड में रेफर कर दिया है। उसके बाद से ही बच्ची अपने माता-पिता की गोद में ही रहती है। तब से उसका दर्द कम हो गया है। वहीं, बच्ची अपना हाथ न होने को लेकर कई सवाल करती है। इसको लेकर माता-पिता उसे खिलौने, मोबाइल और अन्य बातों से बहला रहे है। बता दें, अंशिका को जल्द ही अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया जाएगा। अंशिका के अलावा राकेश के दो और बच्चे है।
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