BCCI की नेट वर्थ इतने बिलियन डॉलर, कैसे करता है काम, सरकार भी नही कर सकती हस्तक्षेप, फिर कौन जानिए
BCCI की स्थापना भारत में साल 1927 में नई दिल्ली के एक क्लब में संयुक्त बोर्ड बनाने के प्रस्ताव पर मुहर लगी थी। उस समय 8 प्रदेशों की क्रिकेट इकाई ने इसके गठन का समर्थन किया। फिर 1928-29 के इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल के दौरान इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई। इसके कुछ साल बितने के बाद 1940 में बीसीसीआई को एक संस्था के रूप में मद्रास 1860 अधिनियम XXI के अंतर्गत पंजीकृत कर लिया गया था।
Board of Control for Cricket in India: भारतीय क्रिकेट नियंत्रण बोर्ड (BCCI) 50-50 ओवरों के विश्वकप मैच के दौरान काफी विवादों में रहा था। पाकिस्तान क्रिकेट टीम ने बीबीआई पर पिच के लोकर कई सवाल उठाए थे, तो भारत के ही पूर्व कप्तान कपिल देव ने फाइनल मुकाबले नहीं बुलाए जाने पर भी सवाल खड़े किए थे। इसके अलावा भी बोर्ड पर कई आरोप लगे थे। वहीं, साल 2005 के बाद से उस पर तीन बड़े आरोपों में घिरे हुआ था। जैसे IPL में फिक्सिंग, श्रीलंका बोर्ड को बर्बाद करना और कार्यशैली पर कई सवाल खड़े हुए थे। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने 2017 में बीसीसीआई के तत्कालीन अध्यक्ष अनुराग ठाकुर को पद से हटा भी दिया था। वहीं मैच फिक्सिंग के मामले में उस वक्त जांच के बाद आईपीएल की दो टीमों को सस्पेंड भी कर दिया था।
BCCI क्या है, और कब हुई इसकी स्थापना (What is BCCI, and when was it established?)
क्रिकेट से ब्रिटिश आधिपत्य को हटाने के लिए भारत में साल 1927 में नई दिल्ली के एक क्लब में संयुक्त बोर्ड बनाने के प्रस्ताव पर मुहर लगी थी। उस समय 8 प्रदेशों की क्रिकेट इकाई ने इसके गठन का समर्थन किया। फिर 1928-29 के इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल के दौरान इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई। इसके कुछ साल बितने के बाद 1940 में बीसीसीआई को एक संस्था के रूप में मद्रास 1860 अधिनियम XXI के अंतर्गत पंजीकृत कर लिया गया था। आजादी मिलने के बाद इस बोर्ड को तमिलनाडू सोसायटी पंजीकरण अधिनियम 1975 के तहत पंजीकृत कर लिया।
क्या काम करती है बीसीसीआई (What work does BCCI do?)
बीसीसीआई का सबसे अहम काम भारत में क्रिकेट की गुणवत्ता और मानक को बढ़ाने के लिए नीति निर्धारण करना होता है। इसके लिए खुद बोर्ड का संविधान होता है। और उसके अंतर्गत ही फैसले लिए जाते है। इसके संचालन के लिए संगठन में 5 बड़े पद होते है। पहला अध्यक्ष, दूसरा उपाध्यक्ष, तीसरा सचिव, चौथा कोषाध्यक्ष और पांचवा संयुक्त सचिव होता है। जिसमें नीति निर्धारण की सर्वोच्च यूनिट एपेक्स काउंसिल (Apex Council) होती हैं। इसकी बैठक में बोर्ड के सभी अधिकारी और एक भारत सरकार द्वारा नियुक्त अधिकारी शामिल होता है। यही पर बड़े-बड़े फैसले लिए जाते है।
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बीसीसीआई कैसे करती है काम (How does BCCI work?)
बीसीसीआई का मूल काम घरेलू क्रिकेट (domestic cricket) को बढ़ावा देने का होता है। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट काइंसिल के पैमाने पर खरा उतरने के लिए टीम की गुणवत्ता सेट करना होता है। वहीं, बीसीसीआई का नीति निर्धारण भी इसी संदर्भ में होता है। इनके अलावा अंतरराष्ट्रीय मैचों में प्लेयर के सिलेक्शन, कोच, मैनेजमेंट जैसे तमाम काम बीसीसीआई करता है। अगर भारत में अंतरराष्ट्रीय मैच का आयोजन होता है तो बोर्ड की अहमियत बढ़ जाती है। इस दौरान उन्हें स्टेडियम का चयन करना भी बोर्ड की जिम्मेदारी होती है। बता दें, खिलाड़ियों के सिलेक्शन (selection of players) से जुड़े फैसले एजीएम बैठक (agm meeting) में होते है। जो पूरी तरह से गोपनीय और आंतरिक होती है।
BCCI का रेवेन्य सिस्टम और नेट वर्थ (BCCI's revenue system and net worth)
बीसीसीआई सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड है। जो अपने रेवेन्य सिस्टम को लेकर भी चर्चाओं में बने रहता है। इस साल राज्यसभा में एक प्रश्न के उत्तर में भारत के वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने कहा कि, वित्त वर्ष 2018-2022 के दौरान BCCI को कुल 27,411 करोड़ रूपये से अधिक का राजस्व जोड़ा है। वहीं, एक रिपोर्ट के मुताबिक, बीसीसीआई का नेट वर्थ 2.25 बिलियन डॉलर है। और कमाई की बात की जाए तो भारत सरकार के मुताबिक, BCCI की कमाई मीडिया राइट्स, स्पॉन्सरशिप और इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) के रेवेन्य शेयरों के जारिए होती है।
बोर्ड के टैक्स चुकाने की बात करें तो साल 2021-22 में 1159.20 करोड़ रूपये, जबकि, 2020-21 में 844.92 करोड़ रूपये भारत सरकार को दिया है। ये आंकड़े वित्त मंत्रालय से मिले है। जानकारो से मिली सूचना के मुताबिक, फीफा के बाद से बोर्ड सबसे अमीर खेल संस्था है। जो फीफा का नेट वर्थ 2.37 बिलियन डॉलर है, जो BCCI के नेट वर्थ 2.25 बिलियन डॉलर से थोड़ा ही अधिक है।
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BCCI की कितनी है ताकत (what is the strength of BCCI)
बोर्ड सबसे ताकतवर संस्था है। जो एक स्वायत है। बोर्ड के भीतर प्रशासनिक और वित्तीय अधिकारों में सरकार का हस्तक्षेप ना के बराबर है। बोर्ड के सबसे अहम और बड़े फैसले जनरल बॉडी और एपेक्स काउंसिल ही लेती है। इसके वित्तीय लेनदेन की ऑडिट कराना अनिवार्य होता है। हर वर्ष ऑडिट रिपोर्ट बोर्ड की वेबसाइट पर अपलोड किया जाता है। इस बोर्ड को खेल मंत्रालय ने सूचना के अधिकार अधिनियम 2005 के अंतर्गत रखा है।
BCCI पर कौन करता है कार्रवाई (Who takes action against BCCI)
बीसीसीआई के जो पांच बड़े पद होते है। उन पर अधिकारियों का चुनाव प्रदेश और राष्ट्रीय स्तर के सदस्यों के द्वारा किया जाता है। संविधान के मुताबिक, एक शख्स तीन से अधिक बार एक पद पर नहींं रह सकता है। वहीं, बोर्ड पर कार्रवाई की बात करें तो इसका मूल अधिकार इंटरनेशल क्रिकेट काउंसिल (ICC) के पास होता है। अगर BCCI किसी नियम का उल्लंघन करती है तो उस पर ICC कर्रवाई कर सकती है।
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